Ranchi : मां-पिता की स्मृति में निराश्रित महिलाओं को कराया भोजन *पीड़ित मानवता की सेवा से होती है सुखद अनुभूति: अभिजीत भट्टाचार्य *गरीबों और लाचारों की सेवा करना मानव धर्म है : तुषारकांत शीट ।

 Ranchi : मां-पिता की स्मृति में निराश्रित महिलाओं को कराया भोजन

 *पीड़ित मानवता की सेवा से होती है सुखद अनुभूति: अभिजीत भट्टाचार्य 

*गरीबों और लाचारों की सेवा करना मानव धर्म है : तुषारकांत शीट ।

रांची, झारखंड । 

भारतीय स्टेट बैंक से सेवानिवृत अधिकारी अभिजीत भट्टाचार्य और उनकी पत्नी  शुभ्रा भट्टाचार्य ने अपने माता-पिता अचिन भट्टाचार्य-आरती भट्टाचार्य की स्मृति में बुधवार को लटमा रोड, (सिंह मोड़) स्थित वृद्ध आश्रम "अपना घर" में निराश्रित महिलाओं को दोपहर का भोजन कराया।

 इस अवसर पर वृद्ध महिलाओं के बीच वस्त्र और फल आदि का भी  वितरण किया गया। 

 मौके पर श्री भट्टाचार्य ने कहा कि पीड़ित मानवता की सेवा सबसे बड़ा मानव धर्म है। गरीबों व लाचारों की सेवा करने से सुखद अनुभूति होती है। 

वहीं, इस अवसर पर शहर के जाने-माने सामाजिक कार्यकर्ता एवं श्री रामकृष्ण सेवा संघ के सहायक सचिव तुषारकांत शीट ने कहा कि पीड़ितों की सेवा से अद्भुत संतुष्टि मिलती है।  उन्होंने गरीबों लाचारों की सेवा करने के प्रति समाजसेवियों और अन्य सामाजिक संगठनों से बढ़कर सहभागिता निभाने की अपील की।

 इस अवसर पर समाजसेवी आलोक मजूमदार, अरुण सिन्हा , तन्मय मुखर्जी, तनय शीट, तापस घोष सहित अन्य उपस्थित थे।



By Madhu Sinha 

एक टिप्पणी भेजें

0 टिप्पणियाँ