RANCHI,JHARKHAND#मत्स्य विभाग का जिला स्तरीय कार्यशाला आयोजित
*दो सौ मत्स्य कृषक हुए शामिल
*केज कल्चर से मत्स्यपालन को बढ़ावा देने के लिए अनराज जलाशय में लगाए जाएंगे तीस केज
*मछली पालन की अत्याधुनिक तकनीक अपनाएं, आमदनी बढ़ाएं: डीडीसी .!
रांची/गढ़वा, झारखंड ।जिला मत्स्य कार्यालय की ओर से सोमवार को पुराना समाहरणालय, गढ़वा में जिला स्तरीय कार्यशाला का आयोजन किया गया। कार्यशाला का शुभारंभ उप विकास आयुक्त पशुपति नाथ मिश्रा (भाप्रसे) ने किया। इस अवसर पर कौशल किशोर, तथा मनीष कुमार (सीएससी, जिला प्रबंधक भी उपस्थित थे। इसके साथ ही विभिन्न प्रखंडों से आए हुए करीब 250 मत्स्य कृषक, मत्स्य बीज उत्पादक, मत्स्य मित्र, केज पालक शामिल हुए।
गौरतलब है कि विगत दिनों विभागीय मंत्री शिल्पी नेहा तिर्की द्वारा दिए गए दिशा-निर्देश के आलोक में सभी जिलों में कार्यशाला का आयोजन किया जा रहा है। कार्यक्रम को धनराज कापसे, जिला मत्स्य पदाधिकारी, गढ़वा ने भी संबोधित किया। उप विकास आयुक्त ने गढ़वा जिले के अनराज जलाशय में 30 केज लगाने की घोषणा की। ताकि मत्स्य पालक गढ़वा जिले मत्स्य उद्योग के रूप में अपनी पहचान बना सकें।कार्यशाला में चन्देश्वरी साहनी, मत्स्य प्रसार पर्यवेक्षक ने भी मत्स्यपालकों को संबोधित किया। निदेशक (मत्स्य) डॉ.एचएन द्विवेदी के मार्गदर्शन में मछली उत्पादन बढ़ाने के लिए मत्स्यपालकों का आह्वान किया गया।
मत्स्य कृषकों को विभागीय योजनाओं की जानकारी दी गई। साथ ही मत्स्य बीज उत्पादन का फीड बैक लिया गया। इस मौके पर मनोज चौधरी, (प्रगतिशील मत्स्य पालक) विनोद चौधरी, (प्रगतिशील मत्स्य बीज उत्पादक) ने भी मत्स्य पालन से संबंधित अपने अनुभवों को साझा किया।
उक्त जानकारी मत्स्य निदेशालय के मुख्य अनुदेशक प्रशांत कुमार दीपक ने दी।
By Madhu Sinha
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